राशन कार्ड से काटे गए 2.25 करोड़ लोगों के नाम : Ration Card Big News

WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now
Instagram Group Join Now

केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत मिलने वाली मुफ्त राशन योजना में एक बड़ा कदम उठाते हुए 2.25 करोड़ अपात्र लाभार्थियों के नाम सूची से हटा दिए हैं। खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पुष्टि की कि हाल ही में अपात्र पाए गए व्यक्तियों की पहचान पूरी कर राज्यों को कार्रवाई के लिए निर्देश दे दिए गए थे।

पिछले पांच महीनों में हटाए गए लाभार्थियों के नाम

केंद्रीय खाद्य मंत्रालय की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले चार से पाँच महीनों में इन 2.25 करोड़ नामों को सूची से हटाया गया है। सरकार का कहना है कि मुफ्त राशन योजना का लाभ केवल वास्तविक पात्र लोगों तक पहुँचे, इसलिए बड़े पैमाने पर सत्यापन अभियान चलाया गया। इस सत्यापन के दौरान कई ऐसे नाम सामने आए जो पात्रता मानदंड पर खरे नहीं उतरते थे।

मुफ्त राशन योजना के तहत मिलने वाला खाद्यान्न

इस योजना के तहत गरीब और पात्र परिवारों को मासिक आधार पर पाँच किलो मुफ्त खाद्यान्न – गेहूं या चावल उपलब्ध कराया जाता है। लेकिन पिछले वर्षों में कई ऐसे लाभार्थी सूची में शामिल पाए गए थे जिनकी आय निर्धारित सीमा से अधिक थी, जिनके पास चार पहिया वाहन थे या जो कंपनियों में निदेशक पद पर कार्यरत थे। खाद्य सचिव संजीव चोपड़ा ने बताया कि ऐसे सभी नामों को सूची से हटाकर सिस्टम को अधिक पारदर्शी बनाया गया है।

राज्य सरकारों को सौंपे गए सत्यापन की जिम्मेदारी

खाद्य मंत्रालय ने बताया कि लाभार्थियों की सूची का अंतिम सत्यापन राज्य सरकारों द्वारा किया गया। केंद्र ने राज्यों को संदिग्ध लाभार्थियों की सूची भेजी थी और इनके दस्तावेजों की जांच करने के बाद पात्रता तय की गई। सत्यापन के दौरान कई ऐसे नाम भी सामने आए जो मृत व्यक्तियों के थे, जिनका रिकॉर्ड अब तक अपडेट नहीं हुआ था। वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि अब इन सभी को सूची से बाहर कर दिया गया है।

राज्यों द्वारा तय किए जा रहे हैं पात्रता के नियम

राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम वर्ष 2013 के अनुसार ग्रामीण क्षेत्रों की 75 प्रतिशत जनसंख्या और शहरी क्षेत्रों की 50 प्रतिशत आबादी इस योजना के दायरे में आती है। यह कुल मिलाकर देश की लगभग दो-तिहाई आबादी को कवर करता है। लाभार्थियों की अंतिम पहचान राज्य सरकारें करती हैं और यह प्रक्रिया लगातार चलती रहती है। पात्र व्यक्तियों को जोड़ा जाता है और अपात्र लोगों को हटाया जाता है, जिससे प्रणाली अद्यतन बनी रहे।

दो श्रेणियों में बांटे गए हैं लाभार्थी

NFSA के तहत लाभार्थियों को दो श्रेणियों – अंत्योदय अन्न योजना परिवार और प्राथमिकता श्रेणी में विभाजित किया गया है। अंत्योदय परिवारों को हर महीने 35 किलो अनाज दिया जाता है, जबकि प्राथमिकता श्रेणी के प्रत्येक सदस्य को पाँच किलो अनाज का अधिकार मिलता है। केंद्र ने जुलाई में संसद को बताया था कि 81.35 करोड़ की लक्षित जनसंख्या के मुकाबले अब तक राज्यों ने 80.56 करोड़ पात्र व्यक्तियों की पहचान की है।

देशभर में सक्रिय हैं 19 करोड़ से अधिक राशन कार्ड

देश में वर्तमान समय में 19 करोड़ से ज्यादा राशन कार्ड धारक पंजीकृत हैं। इसके साथ ही लगभग पाँच लाख उचित मूल्य की दुकानें सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में संचालन कर रही हैं। सरकार का कहना है कि अपात्र लोगों को हटाने से सिस्टम की पारदर्शिता और वास्तविक लाभार्थियों की पहुँच दोनों मजबूत होंगी।

WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now
Instagram Group Join Now

Leave a Comment

WhatsApp Group